देश में ६७ वाँ आजादी का जश्न मनाने की तैयारियां अंतिम चरण में हैं ,रंगाई पोताई चालू है ,कुछ टूटे फूटे ,भूले और छूटे भी लीप पोत दिए जायेंगे । देश की तरक्कियां गिनाई जाएँगी ,फिर से कुछ कश्मे वायदे होंगे । संस्कारशाला सा माहौल रहेगा ,,महापुरुषों के सिद्धांतों पर चलने की सीख दी जाएँगी ,,,,दुकान डलिया बंद रहेगी ,छात्रों के लिए घुमक्कड़ी का दिन सा होगा ,,,,फिर साल भर के लिए इस भारी खुराक का अंत ,,,,,,कुछ इस तरह से फिर हम जुटेंगे गणतंत्र की तैयारियों में कितना दिन ही बचा है मात्र पांच ही महीने न ,,,,,,फिर भी रश्मों रिवाज की फितरतों से ऊपर उठ कर ,,,,बन्दे मातरम् से लबरेज होना ,,,,,जय हिन्द जय भारत
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